arjun ke pita ka kya naam tha युधिस्टर भीम अर्जुन नकुल सहदेव ये सब पांडव कहलाते थे और इन्हें कोंतेय भी कहते थे क्यों क्या आपको पता है आज आपको सभी बातो का पता चलेगा अर्जुन के पिता महराज पांडू थे
अर्जुन के पिता का नाम क्या है
इस कारण अर्जुन को और उनके सभी भाइयो को पांडव कहते थे माता का नाम कुन्ती था इस लिए इनको कोंतेय भी कहते थेवेसे सभी पांडव देवताओ के मानस पुत्र भी थे भीम के पिता का नाम पवनदेव था

युधिस्टर के पिता का नाम धर्मराज था और अर्जुन के पिता का नाम इन्द्रदेव था और नकुल और सहदेव के पिता का नाम अश्वनी कुमार था

अर्जुन की विशेषता
अर्जुन इंद्र के पुत्र थे अर्जुन के अंदर सीखने की बहुत लालसा थी जो भी कुछ उन्हें मिला उस से अर्जुन ने शिक्षा प्राप्त की और उसका सम्मान किया सीखते तो हम भी है लेकिन कोई भी शिक्षा ग्रहण करने का अपना – अपना तरीका होता है!
कुंती के एक और पुत्र थे जिनका नाम कर्ण था जो कुंती के कोमारी अवस्था में जन्म दिया कर्ण के पिता का नाम सूर्यदेव था जबकि कर्ण और अर्जुन परस्पर एकदूसरे के विरोधी थे
वे एक दुसरे को परस्पर छोटे योद्धा नही मानते थे पांडूओ और कोरवो के गुरु द्रोणाचार्य थे जबकि द्रोणाचार्य ने अर्जुन को महान धनुर्धर बनाने के लिए कर्ण को युद्ध विद्या नही सिखाई
arjun ke pita ka kya naam tha परन्तु कर्ण ने भगवान परशुराम से शिक्षा ली और परशुराम ने कर्ण से कहा की पर्थ्वी पर तुम्हारे समान कोई धनुर्धर नही है